यूपी की अंकसूची से छत्तीसगढ में कर रही नौकरी, जिला शिक्षा कार्यालय जांच नहीं कर रहा
छुरिया । विकास खण्ड अन्तर्गत विश्वत सुत्रो से प्राप्त जानकारी के अनुसार शिक्षा कर्मी वर्ग 2 की एक शिक्षिका उत्तर प्रदेश की अंकसुची लगाकर छुरिया ब्लाक में कर रही है नौकरी क्या छत्तीसगढ में बेराजगार युवक , युवती वर्ग दो की प्रशिक्षित पढाई क्या हमारे छत्तीगढ मे नही है उत्तर प्रदेश का अंकसुची लगाकर नौकरी कर रही शिक्षिका का जांच करने हेतु राजनांदगांव डी.ओ. कार्यालय व स्टाप पूरी तरीका से नत मस्तक नजर आ रहें हैं उत्तर प्रदेश की अकसुची लगाकर नौकरी कर रही शिक्षिका के आखिर जांच में हिल हवाला क्यों क्या ये प्रभावशाली शिक्षिका का डी.ओ. कार्यालय में दबाव है यह शिक्षिका की जन्म तिथि 17.7.1982 है 01.7.1996 में 10 वी की पढाई उत्तीर्ण कर ली गई जन्म तिथि एवं 10 वी की उत्र्तीण तिथि को जोड भाव कर मिलाया जाए तो साढे तीन वर्ष में इन तारीखो के हिसाब से साढे तीन वर्ष की उम्र में इनका दाखिला हो गया था । जब दाखिला हो गया था तो ये 13 साल नौ महिना मेंं 10 वी की पढाई पूर्ण कर ली गई है कक्षा 12वी की परीक्षा 30.6.1998 ,बी,ए, अंतिम परीक्षा 21.6.2002 में उत्तीर्ण की गई ।छ0ग0 रोजगार कार्यालय से 2009 में पंजीयन कराया गया है क्या जिस प्रदेश मे पढाई पूरी की गई उस प्रदेश में क्या पंजीयन पर रोक था या फिर उस प्रदेश का एैसा कुछ आदेश था की आपको पंजीयन छ0ग0 में ही कराना है इसी तरह छ0ग0 निवास प्रमाण पत्र भी 2009 में एक साथ बनवा लिया गया सरपंच ग्राम पंचायत द्वारा दर्शित प्रमाण पत्र में दिनांक 02.6.2010 है नियोक्ता द्वारा शिक्षा कर्मी वर्ग 2 का सत्यापन दिनांक 31.5.2010 को सत्यापन होने की जानकारी है वही अभ्याथर््ीा द्वारा पंचायत द्वारा जारी प्रमाण पत्र में प्राप्ति 4.5.2010 बताया जाता है क्या इन अलग अलग तारीखों से यह ज्ञात होता कि इनके द्वारा प्रस्तुत किये गये दस्तावेजों मे ख्ुाशबू की जगह बदबू की बू आ रही है नियोक्ता द्वारा अभ्यार्थी की नियुक्ति शिक्षा कर्मी वर्ग 2 के पद पर अनारक्षित मुक्त विषय अग्रेंजी में दिनांक 6.1.2011 को हो गया । क्या इसी कारण शिक्षा के मंन्दिर कहलाने वाला विभाग ज्ञात होता है दबाव का विभाग फर्जी वाडे का विभाग जांच से कतराने वाला विभाग इन्ही विभागों में विकास खण्ड छुरिया के अन्तर्गत आने वाले अनेंको संकुलों में बनाये गये संकुल समन्वयको में से कुछ जमीन क्रय विक्रय का कार्य कर रहें तो कोई सब्जी बाडी में मस्त है तो कोई दुकानदारी में ख्ुाद बैठ कर स्कूलो एवं सकुल का बिल पास कर रहें है। सरकार के पढाई के प्रति जो सकारात्मक सोच है कुछ कर्मचारी सरकार के मंशा के अनुरूप कार्य न कर सरकार की किरकिरी कराने मे ंआमादा है एैसे कर्मचारियों को जांच कर उचित कार्यवाही समय रहते किया जाए तो फजीहत से बचा जा सकता है ।