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छत्तीसगढ़

संविधान दिवस पर शिविर में विधिक जागरूकता पर की सामूहिक चर्चा

महासमुंद। छत्तीसगढ़ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण बिलासपुर के निर्देशानुसार एवं प्लान आफ एक्शन के तहत विशेष दिवस पर किए जाने वाले शिविर एवं कार्यक्रम के तहत संविधान दिवस पर 26 नवंबर 2023 को जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, महासमुंद के तत्वावधान में विधिक जागरूकता पर आधारित शिविरों का आयोजन किया गया। इसी परिपेक्ष्य में संविधान दिवस पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण महासमुंद के सचिव दामोदर प्रसाद चंद्रा तथा सिविल न्यायाधीश राहुल शराफ द्वारा कस्तुरबा गांधी अवासीय विद्यालय में नालसा द्वारा संचालित योजनाओं तथा विधिक जागरूकता पर अधारित विषयों पर सामूहिक चर्चा की। छात्राओं के उत्सुक विचारों पर प्रश्न जवाब माध्यम से सरल व सहजता पूर्ण भाषाओं के माध्यम से विधिक जागरूकता पर आधारित शिविर का आयोजन किया गया।
सचिव दामोदर प्रसाद चंद्रा द्वारा अपने उद्बोधन में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यो एवं उनके द्वारा दी जाने वाली विधिक सहायता अथवा सलाह के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी देते हुए कहा कि भारतीय संविधान के अनुच्छेद 39 ए में सभी के लिए न्याय सुनिश्चित किया गया है और गरीबों तथा समाज के कमजोर वर्गो के लिए नि:शुल्क कानूनी सहायता की व्यवस्था की गई है। संविधान के अनुच्छेद 14 और 22 (1) के तहत राज्य का यह उत्तदायित्व है कि वह सबके लिए समान अवसर सुनिश्चित करे, समानता के आधार पर समाज के कमजोर वर्गो को सक्षम विधिक सेवाएं प्रदान करने के लिए एक तंत्र की स्थापना करने के लिए वर्ष 1987 में विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियत पास किया गया। इसी के तहत राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण (नालसा) का गठन किया गया है, जो कानूनी सहायता कार्यक्रम लागू करने और उसका मूल्यांकन एवं उनके सतत निगरानी का कार्य कर लोगों को कानूनी सहायता एवं सलाह उपलब्ध कराती है
द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश अनिल कुमार पांडेय द्वारा नवकिरण एकेडमी महासमुंद, अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश योगिता विनय वासनिक एवं प्रशिक्षु सिविल न्यायाधीश खुशबू जैन द्वारा शासकीय नर्सिग कॉलेज महासमुंद, ग्राम सुखरीडबरी में अविनाश टोप्पो, प्री मैट्रिक आदिवासी छात्रावास सरायपाली में अपर सत्र शोभना कोष्ठा, सोनासिल्ली पिथौरा के आंगनबाड़ी भवन में सिविल न्यायाधीश गिरिवर सिंह राजपूत, होलीफेथ स्कूल में सचिव दामोदर प्रसाद चंद्रा तथा महाप्रभुवल्लाभार्च स्नातकोत्तर महाविद्यालय मचेवा में एनएसएस के छात्र-छात्राओं के साथ सिविल न्यायाधीशु योगिता जांगड़े तथा प्रशिक्षु सिविल न्यायाधीश खुशबू जैन द्वारा उपस्थित छात्र-छात्राओं को भारत के संविधान तथा उनके महत्व के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी दी गई। इसके अलावा जिला न्यायालय परिसर महासमुंद में भी न्यायालयीन अधिकारी-कर्मचारियों द्वारा संविधान के उद्देशिका का सामूहिक वाचन किया गया।

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