नाबालिक से दुष्कर्म के मसले पर भाजपा ने सीएम व प्रभारी मंत्री का फूंका पुतला
दंतेवाड़ा । सुकमा जिले के एर्राबोर पोटाकेबिन आश्रम में बीते दिनों एक नाबालिक बच्ची से हुए दुष्कर्म की घटना पर विरोध जताते हुए भाजपा महिला मोर्चा के नेत़त्व में शुक्रवार को दंतेवाड़ा बस स्टेंड चौराहे पर सीएम व प्रभारी मंत्री का पुतला फूंका गया। इस शर्मनाक घटना के लिए सीएम भुपेश बघेल व प्रभारी मंत्री कवासी लखमा भाजपा ने इस्तीफा भी मांगा।
पोटा केबिन में अध्ययनरत एक आदिवासी नाबालिक छात्रा के साथ हुए दुष्कर्म की घटना ने तुल पकड़ लिया है। शुक्रवार शाम हुए पुतला दहन उपरांत मीडिया से मुखातिब होते भाजपा प्रदेश मंत्री तथा सुकमा जिले की प्रभारी ओजस्वी मंडावी ने कहा कि सुकमा जिले के एर्राबोर के एक पोटाकेबिन में जिस तरह से एक 6 साल की बच्ची के साथ घृणित कार्य किया गया है वह बेहद ही शर्मनाक व घोर निन्दनीय है। मामला नाबालिक बच्ची की अस्मिता से जुड़ा हुआ है लिहाजा हम इस पर कोई राजनीति नहीं करना चाहते मगर सवाल यह भी है कि अगर इस तरह की घटनाएं हमारे सामने होंगी तो एक मुख्य जिम्मेदार विपक्ष होने के नाते मसले को उठाना हमारी नैतिक जिम्मेदारी बन जाती है। हमारी बच्चियां अब आश्रमों तक में सुरक्षित नहीं रह गई हैं ऐसे में मां बाप का भरोसा सरकार पर कैसे कायम रह सकता है। उन्होने कहा कि जिस तरह से प्रभारी मंत्री के इशारे पर या उनकी मर्जी के हिसाब से पोटाकेबिन आश्रमों में अपात्र लोगों की नियुक्ति की गई है उसके बाद से इस तरह की घटनाएं लगातार सामने आ रही है। ओजस्वी ने कहा कि इतनी बड़ी शर्मनाक घटना होने के बाद भी कई दिनों तक इस मामले को दबाए रखा गया जो इस बात का प्रमाण है कि भुपेश सरकार दोषियों को बचाने का प्रयास कर रही है। इसलिए हमारी मांग है कि सीएम भुपेश बघेल व प्रभारी मंत्री कवासी लखमा दोनों का इस्तीफा होना चाहिए। भाजपा अध्यक्ष चैतराम अटामी ने भी घटना के लिए भुपेश सरकार को कटघरे में खड़े करते कहा कि अगर इस मामले को भाजपा नहीं उठाती तो मंत्री के इशारे पर मामले को अब तक दबा दिया गया होता और इस घटना का पता परिजनों को व अन्य लोगों को नहीं चल पाता। श्री अटामी ने कहा कि इस घटना से 15 दिन पहले भी एक बच्ची के साथ दुष्कर्म की घटना सुकमा जिले में हुई है। जो सरकार आदिवासी बच्चियों को आश्रमों के अंदर सुरक्षा नहीं दे सकती उस सरकार को एक दिन भी पद पर बने रहने का अधिकार नहीं है। उन्होने कहा कि पोटाकेबिन में बच्ची से दुष्कर्म का मामला बेहद ही शर्मसार करने वाला है घटना के बाद जिस तरह से मामले को दबाने का प्रयास अधीक्षिका के द्वारा किया गया यह दर्शाता है कि उक्त अधीक्षिका के उपर अवश्य ही मंत्रीजनों का वर्दहस्त प्राप्त है। हर मामले पर हल्ला मचाने वाले कवासी लखमा अपने जिले में हुई इस शर्मनाक घटना पर आखिर अब तक खामोश क्यों हैं? अजजा मोर्चा जिला अध्यक्ष मुन्ना मरकाम ने कहा कि एर्राबोर पोटा केबिन में नाबालिक बच्ची के साथ हुई घटना के बाद आश्रमों में पढने वाले छात्राएं बेहद डरी सहमी हुई हैं। पालक भी अपने बच्चियों को लेकर काफी भयभीत हैं। कई पालक तो अपने बच्यिों को वापस घर ले जा रहे हैं ये स्थिति इस सरकार ने बनाकर रख दी है इसलिए इस सीएम तथा प्रभारी मंत्री को इस्तीफा देना चाहिए। महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष ममता गुप्ता ने कहा कि मणिपुर की घटना पर हल्ला करने वाले तथाकथित कांग्रेसी नेता इस मसले पर खामोश क्यों हैं? उन्होने कहा कि प्रदेश में भुपेश सरकार के आने के बाद से कानुन व्यवस्था पटरी से पूरी तरह से उतर गया है। जब तक सीएम व प्रभारी मंत्री का इस्तीफा नहीं हो जाता भाजपा इस मसले पर चुप नहीं बैठने वाली। सवाल हमारी आदिवासी बच्चियों की अस्मिता से जुड़ा हुआ है। सरकार को देर सबेर मुंह खोलना पड़ेगा वे जिम्मेदारी से बच नहीं सकते।