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छत्तीसगढ़

विधायक रोहित साहू से टीचर्स एसोसिएशन के प्रतिनिधिमंडल की सौजन्य मुलाकात

राजिम । राजिम विधानसभा के नवनिर्वाचित विधायक रोहित साहू से छत्तीसगढ़ टीचर्स एसोसिएशन जिला इकाई गरियाबंद के प्रतिनिधि मंडल प्रदेश सहसचिव विनोद सिन्हा, प्रदेश संयुक्त मंत्री पूरन लाल साहू,जिला अध्यक्ष द्वय परमेश्वर निर्मलकर, ओमप्रकाश सोनकला के नेतृत्व में उनके निवास स्थान राजिम में सौजन्य मुलाकात की इस अवसर पर मुलाकात करने वालों में प्रतिनिधिमंडल ने विधायक रोहित साहू को पुष्प गुच्छ भेंट करते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना की। उनके कुशल नेतृत्व क्षमता से निश्चित ही पूरे राजिम विधानसभा क्षेत्र का चहुंमुखी विकास होगा। ऐसी मंगल कामना की। विधायक रोहित साहू से मुलाकात करने वालों में विनोद सिन्हा, पूरन लाल साहू, परमेश्वर निर्मलकर,ओमप्रकाश सोनकला,लता ध्रुव,हुलस साहू, सुरेश केला ,टिकेन्द्र यदु,घनश्याम दिवाकर,संतोष साहू, जितेंद्र सोनवानी,संजय यादव ,नारायण निषाद दिनेश्वर साहू,दिनेश निर्मलकर ,भूपेन्द्र गिरि गोस्वामी ,,डगेश्वर ध्रुव,भगवंत कुटारे, दिनेश्वरी साहू रवि अग्रवार, संतोष साहू, ओमप्रकाश वर्मा, कृष्ण कुमार बया, बलराम, संजीव सोनटके ,,प्रहलाद मेश्राम शामिल थे।

नवीन मेला मैदान में कैसे होगा कुंभ अभी तक न विधायक पहुंचे न मंत्री

राजिम । शहर सहित पूरे छत्तीसगढ़ के लोग पिछले 5 सालों से नवीन मेला मैदान में मेला लगाने की इंतजार में है शासन प्रशासन स्थाई निर्माण का झांसा देते रहे और देखते ही देखते भूपेश सरकार का कार्यकाल समाप्त हो गया। नवीन मेला मैदान स्थल का चयन भाजपा सरकार में ही किया गया था जिसे संवारने की बात तत्कालीन मुख्यमंत्री से लेकर तत्कालीन गृहमंत्री तक कहते रहे पर मात्र बिजली विभाग के द्वारा सब स्टेशन एवं जल संसाधन विभाग के द्वारा घाट निर्माण का कार्य अभी भी अपूर्ण है। भूमि को जैसे तैसे समतल ही किया गया है यहां ढ़ेरों कम होने हैं। हमारे संवाददाता ने जाकर देखा तो एक दो काम के सिवाय और कोई स्थाई निर्माण नहीं हो पाया है। सप्ताह भर पहले धर्मस्व मंत्री के निर्देश पर भाजपा के वरिष्ठ नेता मेला मैदान में पहुंचे हुए थे उन्होंने कहा कि जनता की मांग है इस बार नवीन मेला मैदान में कुंभ मेला लगना चाहिए। इतने पर एक पत्रकार ने कहा कि एक महीने में सारी व्यवस्थाएं कैसी हो पाएगी, तब वहां उपस्थित नेता ने तो यह कह दिया कि महीने भर का समय काफी होता है इतने में तो बड़ा से भी बड़ा काम किया जा सकता है। राजिम कुंभ मेला के स्वरूप को छोटा नहीं बल्कि वृहद करना है। मेला रोड में होने के कारण ट्रैफिक समस्या समेत अनेक दिक्कतें आती है कम से कम उससे निजात तो पाया जा सकता है। मेला हम सबके श्रद्धा का केंद्र है। बता देना जरूरी है कि 3 दिसंबर को चुनाव परिणाम आने के बाद भाजपा की सरकार बनी और अपने पुराने मंत्री बृजमोहन अग्रवाल को फिर से धर्मस्व एवं पर्यटन विभाग दिया। यह खबर सुनकर क्षेत्र के लोग बहुत ही खुश हो गए कि अब फिर से कुंभ मेला होगा। 7 जनवरी को मुख्यमंत्री राजिम भक्तिन माता जयंती के अवसर पर राजिम पहुंचे और उन्होंने कुंभ मेला करने का ऐलान भी कर दिया। उसके बाद से नवीन मेला मैदान में निर्माण कार्यों की कोई प्रगति नहीं दिखती। सिर्फ तीन घाट बनाए जा रहे हैं जिसमें से एक जनता घाट, दूसरा शाही स्नान घाट तथा तीसरा आरती घाट। इसे बनने में काफी समय लग गया है पिछले वर्ष से काम चालू हुआ है जो अभी भी बन ही रहा है। शायद ठेकेदार अवधि समाप्त होने के बाद एक्सटेंशन लेकर कार्य को पूरा कर रहे हैं। इधर कार्य का बहाना बनाकर जल संसाधन विभाग में एनीकट से पानी छुड़ा दिए हैं। भूजल स्तर नीचे गिर रहा है। आने वाली गर्मी में पानी की विकराल समस्या हो सकती है आखिरकार इसकी जिम्मेदारी कौन लेगा। नदी में पानी नहीं होने के कारण रेत माफियाओं की पैबारह हो रही है। राजिम परसवानी चौबेबांधा पुल के पास से ही रात में चैन फाउंटेन मशीन से नदी की छाती की छलनी कर रहे हैं। कांग्रेस की तरह भाजपा सरकार भी चुपचाप बैठी हुई है। भविष्य में यहां के लोगों को बड़ी मुसीबत से गुजरना पड़ सकता है। यह रेत उठाव नवीन मेला मैदान के पास से ही हो रहा है और प्रशासन चुप्पी साधे हुए हैं। उल्लेखनीय की नवीन मेला मैदान स्थल का निरीक्षण करने के लिए अभी तक नवनिर्वाचित विधायक नहीं पहुंचे हैं जबकि उनके निवास से करीब डेढ़ किलोमीटर की दूरी पर यह स्थल है। लोग हैरत में हैं कि हम लोग नवीन मेला स्थल पर कुंभ मेला को देखना चाहते हैं और हमारे जनप्रतिनिधि इस दिशा में मौन हैं। वैसे बता देना जरूरी है कि जब भी विधायक के पास फोन लगाओ तो बात नहीं हो पाती है। जिसे लेकर आम जनता से लेकर पत्रकार भी खफा है। कुछ लोगों से चर्चा करने पर बताया कि पिछले मेला में तो दिसंबर में ही तत्कालीन मंत्री ताम्रध्वज साहू निरीक्षण के लिए पहुंच गए थे। वैसे हर बार मंत्री यहां निरीक्षण के लिए आते रहे हैं। इस बार जनवरी भी बीतने को है फरवरी में 24 तारीख से मेला प्रारंभ है। 1 महीने से भी कम समय बचा हुआ है और अभी तक ना यहां विधायक पहुंचे हैं ना कोई मंत्री। कैसे नवीन मेला मैदान में कुंभ मेला होगा इस बात की चिंता सरकार से ज्यादा लोगों को है।

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